गीता ज्ञान यज्ञ का भव्य समापन, विश्व की समस्त आत्माओं के प्रति भाईचारे का भाव जागृत करना होगा – बीके ज्योति दीदी
उपासना डेस्क, सिवनी: आरचीपुरम कॉलोनी में चल रहे गीता ज्ञान यज्ञ के समापन सत्र मे ब्रम्हाकुमारी गीता दीदी ने बताया की यदि भारत को विश्वगुरु बनाना है ,तो समस्त भारतवासियों को श्रेष्ठ संस्कार बनाने होंगे, और सारे विश्व की समस्त आत्माओं के प्रति भाईचारे का भाव जागृत करना होगा। तभी सारी दुनिया हमें विश्व गुरु के रूप में स्वीकार करेगी, इसके लिए मेडिटेशन करना आवश्यक है। प्रतिदिन मेडिटेशन कर हम परमात्मा से दिव्य गुण और शक्तियां स्वयं में भरे, और संसार की समस्त आत्माओं के लिए शुभ भावना शुभकामना के श्रेष्ठ वाइब्रेशन फैलाएं।
21वीं सदी को स्वर्णिम सदी बनाना है, तो हमें सतयुगी देवी देवताओं की तरह अपने संस्कारों को भी श्रेष्ठ बनाना होगा। खानपान रहन सहन सात्विक बनाना होगा ,दीदी ने कहा वर्तमान समय हो रहे दुराचार, अत्याचार, पापाचार की सबसे बड़ी वजह है। हम आंख ,कान ,मुख ज्ञानेंद्रियों से जो इनपुट दे रहे हैं ,वह सब नेगेटिव ही है, इस वजह से हमारी कर्मेंद्रियों के द्वारा आउटपुट हो रहा है ,वह भी नेगेटिव ही है। अतः किसी भी दुराचारी व्यक्ति को सजा देकर डरा धमका कर सुधारा नहीं जा सकता है ,उसे सुधारने का सबसे बेस्ट तरीका है, कि उन्हें आंख ,कान, मुख के द्वारा वही इनपुट दीया जाए ,जो आउटपुट हम चाहते हैं।
समापन सत्र में ब्रह्माकुमारी संस्थान की सिवनी जिले की संचालिका बीके ज्योति दीदी के आगमन पर पंडाल में उपस्थित सभी भाई बहनों ने भव्य स्वागत किया और दीदी ने अपने आशीर्वचन में ब्रह्माकुमारी संस्थान की इस वर्ष की थीम “दया करुणा के लिए आध्यात्मिकता” को समझाते हुए कहा ,वर्तमान समय अपने स्वभाव में दया और करुणा होना आवश्यक है।
दीदी ने कहा की प्रकृति, पशु ,पक्षी एवं समस्त संसार की आत्माओं के लिए दया करुणा का भाव हमारे अंदर होगा ,तभी हम भारत को विश्व गुरु बना सकते हैं। इसके लिए दीदी ने प्रतिज्ञा भी कराई की प्रतिदिन विश्व की समस्त आत्माओं के लिए 5 मिनट मेडिटेशन कर शुभ भावना और शुभकामना के शुभ संकल्प के वाइब्रेशन विश्व में फैलाएंगे l कार्यक्रम में उपस्थित सभी धर्म प्रेमी जनों ने सात दिवसीय कार्यक्रम की भूरी भूरी प्रशंसा की और ऐसे कार्यक्रम बार-बार करने के लिए कहाl