महाकुंभ हरिद्वार 2021: 25 जनवरी को नगर में प्रवेश करेंगी तीन अखाड़ों की धर्मध्वजा
कुंभ मेले के लिए जूना अखाड़ा, आह्वान अखाड़ा और अग्नि अखाड़ा ने अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री व जूना अखाड़ा के अंतरराष्ट्रीय संरक्षक श्रीमहंत हरिगिरि से विचार-विमर्श करने के बाद नगर प्रवेश, भूमि पूजन, धर्म ध्वजा और पेशवाई की तिथियां घोषित कर दी हैं।
महंत हरिगिरि ने बताया कि जूना अखाड़ा, आह्वान अखाड़ा और अग्नि अखाड़ा तीनों एक साथ शाही स्नान करते हैं। तीनों की धर्मध्वजा और छावनी जूना अखाड़े के परिसर में ही स्थापित होती हैं। लिहाजा, 25 जनवरी को जूना अखाड़े की अगुवाई में आह्वान अखाड़ा और अग्नि अखाड़ा कांगड़ी स्थित प्रेमगिरी आश्रम से धर्मध्वजा लेकर नगर में प्रवेश करेंगे। जुलूस के आगे-आगे रमता पंच चलेंगे।
इससे पूर्व अखाड़े में रमता पंच और साधू संत देवी-देवताओं की पूजा अर्चना कर चुके है। जूना अखाड़ा भी धर्मध्वजा स्थापना के लिए भूमि पूजन कर चूका है। उसके बाद तीनों अखाड़े बारी-बारी से अपनी धर्मध्वजा स्थापित करेंगे।
27 फरवरी को दोपहर 12.40 बजे ज्वालापुर स्थित पांडेवाला से अग्नि अखाड़े की पेशवाई निकलेगी। पेशवाई नगर से होते हुए जूना अखाड़े पहुंचकर अपनी-अपनी छावनियों में प्रवेश करेगी। इसके बाद आह्वान अखाड़ा पांडेवाला से एक मार्च को दोपहर दो बजे अपनी पेशवाई निकालेगा। जूना अखाड़ा में पहुंचने के बाद संत अपनी छावनियों में प्रवेश करेंगे।
आह्वान अखाड़े के राष्ट्रीय महामंत्री महंत सत्यगिरि ने बताया कि उनके अखाड़े की पेशवाई जुलूस भी पांडेवाला ज्वालापुर से शुरू होगा और जूना अखाड़ा मायादेवी पहुंचेगा। उन्होंने बताया कि शाही स्नान तीनों अखाड़े एक साथ ही करेंगे। परंपरा के अनुसार जूना अखाड़ा सबसे आगे रहता है, उसके पीछे आह्वान अखाड़ा और उसके पीछे अग्नि अखाड़ा स्नान करता है। इस बार पहली बार इन अखाड़ों के अतिरिक्त किन्नर अखाड़ा और दंडी स्वामी भी जूना अखाड़े के साथ शाही स्नान करेंगे।