आत्मनिर्भरता की नई उड़ान
ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट में आयोजित यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो 2025 में उत्तर प्रदेश की ग्रामीण महिलाएँ अपने हुनर की चमक बिखेर रही हैं। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (NRLM) के तहत गठित स्वयं सहायता समूहों की “दीदियाँ” यहां अपने हस्तनिर्मित उत्पादों को वैश्विक बाजार तक पहुँचाने में सफल हो रही हैं।
उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि यह ट्रेड शो दीदियों के लिए अपने उत्पादों के विपणन और व्यापार की नई संभावनाओं का दरवाज़ा खोल रहा है। इससे उत्तर प्रदेश के हुनर को लोकल से वोकल और वोकल से ग्लोबल तक पहचान मिल रही है।

परंपरा और आधुनिकता का संगम
इस ट्रेड शो में राज्य के सभी 75 जिलों के चयनित स्वयं सहायता समूहों ने हिस्सा लिया है। स्टालों पर प्रदर्शित किए जा रहे प्रमुख उत्पादों में शामिल हैं:
- मसाले, अचार और मुरब्बे
- जरी-जरदोजी और चिकनकारी परिधान
- जूट और चमड़े के सामान
- टेराकोटा शिल्पकला
- ज्वेलरी और हस्तशिल्प उत्पाद
शो में आए दर्शक और खरीदार इन उत्पादों की गुणवत्ता और विविधता से प्रभावित हो रहे हैं।
दीदियों को मिला बड़ा अवसर
मिशन निदेशक दीपा रंजन ने बताया कि यह मंच राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़ी महिलाओं के लिए बेहद बड़ा अवसर है। यहाँ न केवल उन्हें अपने उत्पादों को बेचने का मौका मिल रहा है बल्कि उन्हें अच्छा मुनाफा भी हो रहा है। उन्होंने बताया कि शो के तीसरे दिन दोपहर तक ही लगभग 2.26 लाख रुपये का विक्रय किया जा चुका है, और यह आँकड़ा प्रतिदिन बढ़ रहा है।
इसके अलावा, प्रदर्शनी में शामिल दीदियों ने अपने हाथों से बने स्वादिष्ट व्यंजन भी प्रस्तुत किए। खरीदारों ने इन्हें खूब पसंद किया और इससे महिलाओं की आर्थिक मजबूती को भी बल मिला।
प्रेरणा कैफे बना आकर्षण का केंद्र
अपर निदेशक जय नाथ यादव ने जानकारी दी कि प्रदर्शनी में ‘प्रेरणा कैफे’ नाम से 10 स्टाल लगाए गए हैं। यहाँ समूह की महिलाएँ पारंपरिक व्यंजन बनाकर परोस रही हैं। स्थानीय निवासी और विदेशी मेहमान इन व्यंजनों की जमकर सराहना कर रहे हैं।
ग्लोबल पहचान की ओर कदम
यह इंटरनेशनल ट्रेड शो इस बात का प्रमाण है कि उत्तर प्रदेश की महिलाएँ अब सिर्फ स्थानीय बाजार तक सीमित नहीं हैं। उनके हुनर और मेहनत को ग्लोबल मार्केट तक पहुँचाने का मार्ग खुल चुका है। यह आयोजन आत्मनिर्भर भारत और महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक मील का पत्थर साबित हो रहा है।